पोषण पखवाड़ा : कुपोषण मुक्त समाज निर्माण को लेकर लोगों को किया जा रहा है जागरूक

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– कुपोषित बच्चों को सुपोषित बनाने पर दिया जा रहा जोर, उचित पोषण की दी जा रही जानकारी
– पोषण पखवाड़ा के तहत 04 अप्रैल तक जिले में होगा विभिन्न कार्यक्रमों का आयोजन
लखीसराय, 30 मार्च-
कुपोषण मुक्त समाज निर्माण को शासन-प्रशासन काफी गंभीर है । इसे सुनिश्चित करने को लेकर तमाम गतिविधियों का आयोजन कर सामुदायिक स्तर पर लोगों को जागरूक भी किया जा रहा है। इसी कड़ी में कुपोषण मुक्त समाज निर्माण के उद्देश्य को सार्थक रूप देने के लिए जिले में पोषण पखवाड़ा चल रहा है।21 मार्च से शुरू हुए इस पखवाड़ा का 04 अप्रैल को समापन होगा। इस दौरान विभिन्न प्रकार के कार्यक्रमों का आयोजन कर जहाँ कुपोषण की समस्या जड़ से मिटाने के लिए आवश्यक पहल की जाएगी। वहीं, सामुदायिक स्तर पर लोगों को जागरूक भी किया जाएगा। ताकि लोगों को उचित पोषण की जानकारी मिल सके और पोषण की महत्ता को समझ सकें। इसको लेकर आईसीडीएस के पदाधिकारियों एवं कर्मियों द्वारा जिला से लेकर गाँव स्तर पर तमाम कार्यक्रमों का आयोजन कर घर-घर पोषण का संदेश पहुँचाया जा रहा है। इस दौरान सही पोषण, देश रोशन अभियान को बढ़ावा देने के लिए लोगों को सही पोषण एवं मानव जीवन के लिए पोषण की महत्ता की जानकारी दी जा रही है।
– 04 अप्रैल तक चलेगा पोषण पखवाड़ा, सामुदायिक स्तर पर लोगों को दी जाएगी उचित पोषण की जानकारी :
आईसीडीएस की डीपीओ (जिला कार्यक्रम पदाधिकारी) रश्मि चौधरी ने बताया, 21 मार्च से शुरू  पोषण पखवाड़ा आगामी 04 अप्रैल तक चलेगा। इस दौरान आईसीडीएस के पदाधिकारियों एवं कर्मियों द्वारा तमाम गतिविधियों का आयोजन कर लोगों को जागरूक किया जाएगा। इस पखवाड़ा के तहत खासकर महिलाओं को विशेष रूप से जागरूक किया जाएगा। जिसमें उचित पोषण की महत्ता की जानकारी देते हुए बताया जाएगा कि समय पर खाना खाएं, स्वास्थ्य के प्रति सतर्क रहें, पुराने ख्यालात से बाहर आकर खुद के स्वास्थ्य के प्रति सतर्क रहें। खुद के साथ छोटे-छोटे बच्चों के प्रति खान-पान को लेकर सजग रहें।
– पोषण के पाँच सूत्र की जानकारी देकर लोगों को किया जाएगा जागरूक :
पखवाड़ा के दौरान गर्भवती और धातृ महिलाओं को पोषण के पांच सूत्र, पहले एक हजार दिन, एनीमिया, डायरिया से बचाव, स्वच्छता, हाथों की सफाई और पौष्टिक आहार के बारे में जागरूक किया जा  रहा है। इसके साथ ही प्रत्येक लाभार्थी गर्भवती महिला और 6 वर्ष तक के बच्चों का वजन लेने के साथ ही आवश्यक परामर्श दिया जाना है। साथ ही पखवाड़ा के दौरान छोटे- छोटे समूह में यक्ष्मा ( टीबी) पर समुदाय आधारित जागरुकता चौपाल का आयोजन किया जाना है। साथ ही सभी विद्यालयों में किशोर- किशोरियों के साथ पोषण पर चर्चा, सभी प्रखंड मुख्यालय पर बीसीएपी की बैठक, प्रखंड और जिला मुख्यालय पर पोषण परामर्श केंद्र की स्थापना, प्रखंड के पोषक क्षेत्र में ई. रिक्शा, ऑटो रिक्शा और रिक्शा के माध्यम से पोषक संदेशों का प्रचार-प्रसार, पूरे राज्य में निदेशालय के द्वारा टीवी, रेडियो, न्यूज़ पेपर, सोशल मास मीडिया के माध्यम से विज्ञापन के जरिये प्रचार- प्रसार किया जाएगा।
– कुपोषण से बचाव के लिए उचित पोषण जरूरी :
कुपोषण को मिटाने एवं इससे बचाव के लिए उचित पोषण बेहद जरूरी है। इसके लिए समय पर खाना, स्वास्थ्य के प्रति हर आवश्यक बातों का ख्याल रखना बेहद जरूरी है। लोगों को जागरूक करने के लिए सरकार द्वारा तमाम गतिविधियों का आयोजन किया जा रहा है।