– प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान के तहत शिविर का आयोजन कर जाँच
– सामान्य और सुरक्षित प्रसव को लेकर दी गई आवश्यक जानकारियाँ
खगड़िया, 09 मार्च-
बुधवार को जिले के सभी पीएचसी, सीएचसी, रेफरल ,अनुमंडलीय व जिला अस्पतालों में गर्भवती महिलाओं की प्रसव पूर्व (एएनसी) जाँच की गई। यह जाँच स्वास्थ्य संस्थानों में प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान के तहत शिविर आयोजित कर की गई। जिसमें बड़ी संख्या में गर्भवती महिलाओं ने आशा कार्यकर्ताओं के सहयोग से नजदीकी स्वास्थ्य संस्थानों में सुरक्षित और सामान्य प्रसव के लिए एएनसी जाँच करवाई। इस दौरान जिले के सभी स्वास्थ्य संस्थानों में गर्भवती की जाँच की गई और जाँच के पश्चात चिकित्सकों द्वारा आवश्यकतानुसार चिकित्सा परामर्श दिया गया। जिसमें रहन-सहन, साफ-सफाई, खान-पान, गर्भावस्था के दौरान बरती जाने वाली सावधानियाँ, समेत अन्य चिकित्सा परामर्श विस्तार पूर्वक दिया गया।
– गर्भवती महिलाओं की हुई समुचित जाँच :
आयोजित शिविर में बड़ी संख्या में गर्भवती महिलाएं शामिल हुईं । शिविर में जाँच कर रही मेडिकल टीम द्वारा गर्भवती महिलाओं की हीमोग्लोबिन, यूरिन, एचआईवी, ब्लड ग्रुप, बीपी, हार्ट-बिट आदि की भी जाँच की गई। एएनसी जांच के लिए शिविर में मौजूद महिलाओं को प्रसव अवधि के दौरान किसी भी प्रकार की शारीरिक परेशानी होने पर तुरंत चिकित्सकों से जाँच कराने की सलाह दी गई।
– सुरक्षित और सामान्य प्रसव के लिए प्रसव पूर्व जाँच जरूरी :
सिविल सर्जन डाॅ अमरनाथ झा ने बताया, प्रसव अवधि के दौरान किसी भी प्रकार की परेशानी होने पर तुरंत जाँच करानी चाहिए। दरअसल, समय पर जाँच कराने से किसी भी प्रकार की परेशानी का शुरुआती दौर में ही पता चल जाता जिससे उसे आसानी से दूर किया जा सकता है। इसके लिए सरकार द्वारा प्रत्येक माह की 09 तारीख को पीएचसी स्तर पर एएनसी जाँच की व्यवस्था की गई है। ताकि प्रसव के दौरान गर्भवती महिलाओं को किसी प्रकार की अनावश्यक शारीरिक परेशानी का सामना नहीं करना पड़े और सुरक्षित प्रसव को बढ़ावा मिल सके। इसलिए, सुरक्षित और सामान्य प्रसव को बढ़ावा देने के लिए गर्भवती महिलाओं को प्रसव पूर्व जाँच कराना जरूरी है।
– शिशु-मृत्यु दर में कमी लाने की है बेहतर व्यवस्था :
केयर इंडिया के डीटीएल अभिनंदन आनंद ने बताया, सरकार द्वारा गर्भवती महिलाओं की स्वास्थ्य जाँच के लिए की गई यह व्यवस्था शिशु-मृत्यु दर में कमी लाने की बेहतर व्यवस्था है। सरकार की यह व्यवस्था मातृ और शिशु मृत्यु दर को कम करने की दिशा में अच्छी पहल है। इससे सुरक्षित प्रसव व शिशु-मृत्यु दर पर भी विराम लगेगा। इसके साथ ही जच्चा-बच्चा दोनों को अनावश्यक परेशानियों का सामना नहीं करना पड़ेगा।
– संस्थागत प्रसव को लेकर किया गया जागरूक :
केयर इंडिया के फैमिली प्लानिंग के जिला समन्वयक राजेश पांडेय ने बताया, एएनसी जाँच के दौरान महिलाओं को संस्थागत प्रसव को लेकर जागरूक किया गया। इस दौरान सरकारी स्वास्थ्य संस्थानों में सुरक्षित प्रसव को बढ़ावा देने के लिए उपलब्ध सुविधाओं की जानकारी दी गई। ताकि महिलाओं में सुरक्षा के दृष्टिकोण से संस्थागत प्रसव को लेकर किसी प्रकार की हिचकिचाहट नहीं रहे और सभी महिलाएं संस्थागत प्रसव को प्राथमिकता दें।