हाईपरटेंशन को नजरअंदाज करना जानलेवाः डॉ. हेमशंकर शर्मा

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-आईएमए और एपीआई ने आईएमए बिल्डिंग में किया कार्यक्रम
-हाईपरटेंशन को लेकर किया गया जागरूक, बचाव की दी जानकारी
भागलपुर, 17 मई
विश्व हाइपरटेंशन दिवस के मौके पर मंगलवार को आईएमए बिल्डिंग में जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया। आईएमए और एपीआई भागलपुर द्वारा आयोजित इस कार्यक्रम में मायागंज अस्पताल के वरीय चिकित्सक डॉ. हेमशंकर शर्मा ने इसे लेकर लोगों को जागरूक किया और इससे बचाव की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि हाईपरटेंशन यानी हाई बीपी को नजरंदाज करना जानलेवा हो सकता है। लंबे समय तक हाई बीपी होने से ब्रेन हेमरेज, किडनी और हार्ट तक फेल हो सकता है। ऐसे में इससे बचाव के लिए खाने में नमक का कम इस्तेमाल, रोजाना मॉर्निंग वॉक, नियमित बीपी जांच कराने के साथ-साथ मोटापे को नियंत्रित करें। इन चीजों पर नियंत्रण रखकर ही आप इससे बच सकते हैं। कार्यक्रम की अध्यक्षता आईएमए भागलपुर के अध्यक्ष डॉ. संजय कुमार सिंह ने और संचालन सचिव डॉ. मनीष कुमार ने किया। इस मौके पर वरीय फिजिशियन डॉ. डीपी सिंह, डॉ. राजकमल चौधरी, डॉ. अभिलेश कुमार आदि की मौजूदगी रही।
हाईपरटेंशन की नियमित जांच कराएं- कार्यक्रम में शामिल अन्य डॉक्टरों ने बताया कि हाईपरटेंशन की नियमित जांच कराएं और उसके अनुसार अपने व्यवहार में परिवर्तन लाएं। खाने से लेकर सोने और उठने तक का समय निर्धारित नहीं रहना और फास्ट फूड का अधिक सेवन करना प्रमुख कारण है। लोगों को घर का खाना खाने पर जोर देना चाहिए। बाहर के खाने से परहेज करना चाहिए। साथ ही रूटीन बनाकर एक निर्धारित समय पर सोने का प्रयास करें और उठने का भी समय निश्चित कर लें। खाने में तेल-मसाले का अधिक इस्तेमाल नहीं करें। साथ ही हरी और पत्तेदार सब्जियों और फलों का अधिक से अधिक सेवन करें। ऐसा न सिर्फ जो उच्च रक्तचाप की चपेट में हैं उन्हें करना चाहिए, बल्कि सभी लोगों को अपनी जीवनशैली में इसे अपनाना चाहिए। जो चपेट में आ गए हैं, उन्हें तो बचाएगा ही। साथ में जो लोग अभी तक बचे हुए हैं, वह भी इस बीमारी की चपेट में आने से बचे रहेंगे।
काम का दबाव कितना भी अधिक हो, टहलने का समय जरूर निकालेः डॉ. चौधरी कहते हैं कि आधुनिक जीवनशैली में सबसे बड़ी कमी यही है कि लोगों पर काम का अत्यधिक दबाव है। इस वजह से लोग स्वास्थ्य पर जरूरी समय नहीं दे पाते हैं। उच्च रक्तचाप होने की यह भी एक वजह है। आधुनिक  जीवनशैली में एक तो समय का अभाव औऱ ऊपर से भोजन भी अधिकतर बाहरी ही हो पाता है। उससे मिलने वाले कैलोरी को बर्न करने का भी समय नहीं रह पाता है। ऐसा  भूल से भी नहीं करें। काम कितना भी अधिक हो, लेकिन अपने शरीर के लिए प्रतिदिन 45 मिनट जरूर निकाल लें। सुबह अगर समय हो ते सुबह में ही, लेकिन अगर सुबह में समय नहीं मिलता है तो शाम में अवश्य 45 मिनट तक तेज कदमों से टहलें। यह सबसे ज्यादा जरूरी है।