-जितने भी तरह के संक्रामक रोग हैं, सभी से बचाव करता है मास्क
-मास्क पहनने की अनिवार्यता से लोगों के अंदर अब खत्म हुई झिझक
भागलपुर-
कोरोना काल में लोगों की दिनचर्या में बहुत बदलाव आया है। संक्रमण से बचाव को लेकर लोगों में सावधानी बरतने की आदत सी पड़ गई है। लोग घर से बाहर कहीं भी जाते हैं तो मास्क पहनकर ही निकलते हैं। समय-समय पर हाथ की धुलाई भी करते हैं। भीड़भाड़ से बचते हैं। इसके सकारात्मक परिणाम सामने आ रहे हैं। खासकर मास्क पहनने को लेकर लोगों में जो आदत पड़ी, उससे न सिर्फ कोरोना से बचाव हो रहा है, बल्कि टीबी समेत कई दूसरी बीमारियों से बचाव हो रहा है। वायु प्रदूषण से लेकर सांस से संबंधित बीमारी से लोगों को मास्क बचा रहा है।
सांस से संबंधित बीमारी से भी मास्क हमें बचाता
निजी चिकित्सक डॉ विनय कुमार झा कहते हैं कि मास्क किसी भी संक्रामक बीमारी से बचाव के लिए बहुत ही उपयोगी होता है। मास्क पहनने से टीबी समेत कई दूसरी बीमारियों से भी बचाव होता है। सांस से संबंधित बीमारी से भी मास्क हमें बचाता है। मास्क पहनने की आदत हमें बीमारियों से बचाव में काफी सहायक साबित होता है। इसलिए अभी कोरोना के मामले कम आ रहे हैं, लेकिन मास्क पहनने की आदत को मत छोड़िये। यह बहुत ही फायदेमंद है। इसके अलावा अभी वायरल का मौसम भी चल रहा है। ऐसे मौसम में बड़ी संख्या में लोग सर्दी-खांसी और बुखार की चपेट में आ रहे हैं। मास्क पहनने की आदत से आपका इन बीमारियों से भी बचाव होगा।
मास्क पहनने की झिझक खत्म हुई:
डॉ झा कहते हैं कि दरअसल सांस से संबंधित बीमारी या फिर अन्य दूसरी बीमारी से ग्रसित लोग पहले भी मास्क पहनते थे, लेकिन सार्वजनिक तौर पर वे लोग मास्क पहनने से हिचकते थे। लेकिन कोरोना काल में जब सरकार ने मास्क पहनना अनिवार्य कर दिया और लोगों को भी लगने लगा कि मास्क पहनने से उनका बचाव होगा। इसके बाद लोग नियमित तौर पर मास्क पहनने लगे। इसका सकारात्मक असर देखने को मिल रहा है। कोरोना की अब दूसरी लहर तो लगभग खत्म हो चुकी है, लेकिन मास्क पहनने की आदत से हम तीसरी लहर से भी बच सकते हैं। इसके अलावा कई अन्य बीमारियों से बचाव होगा। इसलिए नियमित तौर पर मास्क पहनें।
कोरोना काल के बाद भी लोगों को मास्क पहनते रहना चाहिए:
डॉ झा कहते हैं कि मास्क पहनने से जिस तरह से कोरोना, टीबी और सांस से संबंधित बीमार लोगों की संख्या में कमी आई है। इससे साफ है कि मास्क पहनने से सिर्फ कोरोना का ही बचाव नहीं होता है, बल्कि संक्रमित तरीके के जितने भी रोग हैं उन सभी का बचाव मास्क पहनने से होता है। इसके अलावा वायु प्रदूषण से भी लोग बचे रहते हैं। इसलिए जब कोरोना काल खत्म भी हो जाए और सभी लोगों को टीके पड़ जाए, फिर भी मास्क पहनने की आदत को नहीं छोड़नी चाहिए।
अन्य सावधानियां भी जरूरी:
डॉ झा कहते हैं जिस तरीके से मास्क पहनने से लोग कोरोना के साथ-साथ अन्य बीमारियों से भी बच रहे हैं, उसी तरीके से हाथ धोने की आदत से हम अन्य बीमारी से बच सकते हैं या फिर सामाजिक दूरी का पालन करने से हमलोग बहुत सारी बीमारियों से बचे रहेंगे। इसलिए न सिर्फ मास्क पहनने की आदत, बल्कि कोरोना काल में जो भी सकारात्मक बदलाव आया है, उसे बरकरार रखने की जरूरत है। सभी तरह की बीमारी में सावधानी बरतनी पड़ती है। इसलिए जितना हमलोग मास्क पहनेंगे, हाथ की धुलाई करते रहेंगे और सामाजिक दूरी का पालन करेंगे, उतना हमारा बचाव होगा।