• आशा कार्यकर्ताओं को एक फॉर्मेट में भरकर बताए गए सर्वे करने के तरीके
• 10 जनवरी तक आशा कार्यकर्ताओं का सर्वे कर देनी होगी रिपोर्ट
भागलपुर-
नाथनगर में सोमवार को आशा कार्यकर्ताओं को क्षेत्र के 1 बच्चे वाले दंपति के सर्वे करने का प्रशिक्षण दिया गया. प्रशिक्षण का आयोजन केयर इंडिया द्वारा कराया गया. इस दौरान आशा कार्यकर्ताओं को बताया गया कि क्षेत्र में जाकर 1 बच्चे वाले दंपति, जिनकी उम्र 15 से 49 साल हो, उनकी पहचान करें. ऐसे दंपति की आरोग्य दिवस के अवसर पर काउंसलिंग की जाएगी. प्रशिक्षण के दौरान सीएचसी संजीव कुमार, बीसीएम किरण कुमारी और बीएचएम अपर्णा कुमारी मौजूद थीं.
नाथनगर प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र की प्रभारी डॉक्टर अंजना कुमारी ने बताया कि आशा कार्यकर्ताओं को एक बच्चे वाले दंपत्ति के सर्वे का प्रशिक्षण दिया गया है. उन्हें 10 जनवरी से पहले क्षेत्र के 1 बच्चे वाले दंपति की पहचान कर रिपोर्ट देनी है. रिपोर्ट आने के बाद आरोग्य दिवस पर उन लोगों की काउंसलिंग की जाएगी.
केयर इंडिया के परिवार नियोजन समन्वयक आलोक कुमार ने बताया कि ऐसे दंपति को चिन्हित करने का मकसद उन्हें एक से दूसरे बच्चे के बीच में कितना अंतराल हो, इसकी जानकारी देना है. इसे लेकर ही आशा कार्यकर्ताओं को प्रशिक्षण दिया गया है. उन्होंने बताया इस दौरान आशा कार्यकर्ताओं को एक फॉर्मेट उपलब्ध कराया गया, जिसे भरकर उन्हें बताया गया कि क्षेत्र में 1 बच्चे वाले दंपति का सर्वे कैसे करना है.
एक से दूसरे बच्चे के बीच 3 साल का अंतराल जरूरी: आलोक कुमार ने बताया कि काउंसलिंग के दौरान दंपति को यह बताया जाएगा कि एक से दो बच्चे के बीच 3 साल का अंतराल रखने के क्या-क्या फायदे हैं. उन्हें समझाया जाएगा कि अगर आप कोई दो बच्चे के बीच 3 साल का अंतराल रखते हैं तो इससे ना सिर्फ बच्चे स्वस्थ होंगे, बल्कि मां भी स्वस्थ रहेंगी. बच्चे कुपोषित नहीं होंगे. उनकी प्रतिरोधक क्षमता मजबूत रहेगी, जिससे भविष्य में किसी भी बड़ी बीमारी का खतरा नहीं रहेगा.
नुक्कड़ नाटक कर परिवार नियोजन को लेकर किया जाएगा जागरूक: आलोक कुमार ने बताया कि क्षेत्र में सर्वे करने के दौरान जहां पर परिवार नियोजन को लेकर जागरूकता कम दिखेगी या 2 से अधिक बच्चे वाले दंपति अधिक दिखेंगे, वहां एजेंसी के जरिए नुक्कड़ नाटक का आयोजन किया जाएगा. नुक्कड़ नाटक के जरिए लोगों को परिवार नियोजन के फायदे बताए जाएंगे. उन्हें समझाया जाएगा कि परिवार नियोजन से क्या फायदे हैं. कम बच्चे रहने से आर्थिक आजादी के विषय में भी लोगों को जानकारी दी जाएगी.
कोविड 19 के दौर में रखें इसका भी ख्याल:
• व्यक्तिगत स्वच्छता और 6 फीट की शारीरिक दूरी बनाए रखें.
• बार-बार हाथ धोने की आदत डालें.
• साबुन और पानी से हाथ धोएं या अल्कोहल आधारित हैंड सैनिटाइजर का इस्तेमाल करें.
• छींकते और खांसते समय अपनी नाक और मुंह को रूमाल या टिशू से ढंके.
• उपयोग किए गए टिशू को उपयोग के तुरंत बाद बंद डिब्बे में फेंके.
• घर से निकलते समय मास्क का इस्तेमाल जरूर करें.
• बातचीत के दौरान फ्लू जैसे लक्षण वाले व्यक्तियों से कम से कम 6 फीट की दूरी बनाए रखें.
• आंख, नाक एवं मुंह को छूने से बचें.
• मास्क को बार-बार छूने से बचें एवं मास्क को मुँह से हटाकर चेहरे के ऊपर-नीचे न करें
• किसी बाहरी व्यक्ति से मिलने या बात-चीत करने के दौरान यह जरूर सुनिश्चित करें कि दोनों मास्क पहने हों
• कहीं नयी जगह जाने पर सतहों या किसी चीज को छूने से परहेज करें
• बाहर से घर लौटने पर हाथों के साथ शरीर के खुले अंगों को साबुन एवं पानी से अच्छी तरह साफ करें