– घरों के आसपास साफ – सफाई का रखें विशेष ख्याल
– स्थिर साफ पानी में पनपता है एडीस मच्छर इसलिए कहीं भी नहीं होने दें जलजमाव
खगड़िया-
थोड़ी सी सावधानी, घरों के आसपास साफ- सफाई और मच्छरदानी के नियमित प्रयोग से खुद को डेंगू और चिकनगुनिया के संक्रमण से सुरक्षित रख सकते हैं। उक्त बात मंगलवार को राष्ट्रीय डेंगू दिवस पर सदर अस्पताल स्थित जिला स्वास्थ्य समिति कार्यालय से निकली जागरूकता रथ को हरी झंडी दिखाते हुए सिविल सर्जन डॉ. अमिताभ सिन्हा ने कही। उन्होंने बताया कि मौसम में उतार – चढ़ाव होने और खासकर बरसात के दिनों में डेंगू और चिकनगुनिया का संक्रमण फैलने की संभावना काफी बढ़ जाती है। इसको लेकर प्रत्येक आयु वर्ग के लोगों को अपने स्वास्थ्य के प्रति बहुत ही सचेत और सावधान रहने की जरूरत है। इसके लिए रहन- सहन में सकारात्मक बदलाव के साथ- साथ साफ-सफाई पर भी विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है। इसके अलावा डेंगू और चिकनगुनिया का लक्षण महसूस होने पर तुरंत ही जाँच करवाने की भी जरूरत है ताकि शुरुआती दिनों में ही बीमारी की पहचान होने के बाद आसानी से बीमारी को भी मात दी जा सके। इस बीमारी से बचाव के लिए जन – जागरूकता भी बेहद जरूरी है। इस अवसर पर जिला स्वास्थ्य समिति के जिला कार्यक्रम प्रबंधक (डीपीएम) प्रभात कुमार राजू, जिला के संचारी रोग पदाधिकारी (सीडीओ) राम नारायण चौधरी, एपिडिमियोलोजिस्ट डॉ शशि कुमार, जिला वेक्टर जनित रोग सलाहकार बब्लू साहनी, जिला लेखा पदाधिकारी (डीएएम), जिला अनुश्रवण और मूल्यांकन पदाधिकारी डीएम & ई सहित स्वास्थ्य विभाग के कई अधिकारी और कर्मचारी उपस्थित थे ।
संक्रमित एडिस मच्छर के काटने से होती है डेंगू और चिकनगुनिया की बीमारी :
जिला स्वास्थ्य समिति के जिला कार्यक्रम प्रबंधक (डीपीएम) प्रभात कुमार राजू ने बताया कि डेंगू और चिकनगुनिया की बीमारी संक्रमित एडिस मच्छर के काटने से ही होती है। इसलिए यदि आप दिन में भी सोते हैं तो अनिवार्य रूप से मच्छरदानी लगाएं। पूरे शरीर को ढकने वाले कपड़े पहनें। घर के सभी कमरों को साफ- सुथरा एवं हवादार बनाएं रखें। इसके साथ ही अपने घरों के आसपास भी साफ -सफाई का विशेष ख्याल रखें । इसके लिए अपने पड़ोस में रहने वाले अन्य लोगों को भी जागरूक करें। ताकि इस बीमारी के दायरे से सामुदायिक स्तर पर सभी लोग दूर रह सकें। उन्होंने बताया कि इस बीमारी से बचाव के लिए रहन- सहन में बदलाव के साथ- साथ साफ- सफाई पर भी विशेष ध्यान देने की जरूरत है। दरअसल, डेंगू व चिकनगुनिया के शुरुआती लक्षण बुखार से ही शुरू होते हैं। इसके कारण लोगों को बीमारी की पहचान करने में भी काफी परेशानी होती है। इसलिए तनिक भी बीमारी का लक्षण दिखते ही तुरंत जाँच कराने के लिए नजदीकी अस्पताल जाएं।
लक्षण दिखते ही तुरंत कराएं इलाज, अस्पतालों में है समुचित इलाज की व्यवस्था उपलब्ध :
जिला वेक्टर जनित रोग सलाहकार बब्लू साहनी ने बताया कि डेंगू और चिकनगुनिया का लक्षण दिखते ही ऐसे मरीजों को तुरंत इसकी जाँच करानी चाहिए और जाँच रिपोर्ट के अनुसार ही इस बीमारी का इलाज करानी चाहिए। ताकि उन्हें बाद में बड़ी से बड़ी परेशानियों का सामना नहीं करना पड़े और समय पर इलाज भी संभव हो सके।
उन्होंने बताया कि इन बीमारियों के बेहतर इलाज के लिए जिला के सभी स्वास्थ्य संस्थानों में समुचित इलाज की व्यवस्था उपलब्ध है। यह बीमारी संक्रमित एडिस मच्छर के काटने से होता है, जो स्थिर साफ पानी में पनपता है। इसलिए घर सहित अपने आसपास में जलजमाव की स्थिति पैदा नहीं होने दें। जलजमाव होने पर उसे यथाशीघ्र वैकल्पिक व्यवस्था कर हटायें और पानी जमा होने वाले जगहों पर किरासन तेल या कीटनाशक दवाइयों का छिड़काव करें।
– डेंगू और चिकनगुनिया के लक्षण :
उन्होंने बताया कि डेंगू और चिकनगुनिया के कई लक्षण हो सकते हैं जैसे :
– तेज बुखार, बदन, सर एवं जोड़ों में दर्द तथा ऑखों के पीछे दर्द होना ।
– त्वचा पर लाल धब्बे या चकते का निशान ।
– नाक, मसूढ़े से या उल्टी के साथ रक्तस्राव होना ।
– काला पैखाना होना ।
– इससे बचाव के उपाय :
– दिन में भी सोते समय मच्छरदानी का इस्तेमाल करें ।
– पूरे शरीर को ढकने वाले कपड़े पहनें अथवा मच्छर भगाने वाली दवा/क्रीम का उपयोग करें।
– टूटे-फूटे बर्तनों, कूलर, एसी/फ्रिज के पानी निकासी ट्रे, पानी टंकी, गमला, फूलदान, घर के अंदर एवं आसपास पानी नहीं जमने दें ।
– जमे हुए पानी पर मिट्टी का तेल डालें अथवा कीटनाशक दवाओं का छिड़काव करें ।