वैश्विक सेवा संस्था ‘लायन्स क्लब इंटरनेशनल’द्वारा प्रो. डॉ. संजय चोरडिया को मानद सदस्यत्व प्रदान

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पुणे : सूर्यदत्ता ग्रुप ऑफ इन्स्टिट्यूट के संस्थापक अध्यक्ष प्रा. डॉ. संजय चोरडिया को वैश्विक स्तर की सबसे बड़ी सेवा संस्था लायन्स क्लब इंटरनॅशनल द्वारा मानद सदस्यत्व प्रदान किया गया. ‘लायन्स क्लब’ के पूर्व प्रांतपाल डॉ. चंद्रहास शेट्टी ने चोरडिया को सभासदत्व का मानपत्र प्रदान किया. इस समय संगणक तज्ज्ञ व रोटरी क्लब इंटरनॅशनल के पूर्व प्रांतपाल डॉ. दीपक शिकारपूर, ‘सूर्यदत्ता’ की उपाध्यक्षा व सचिव सुषमा चोरडिया आदी उपस्थित थे. लायन्स क्लब इंटरनॅशनल के शताब्दी महोत्सव में भी डॉ. चोरडिया को ‘लायन्स सेंटिनिअल पुरस्कार’ और ‘लायन्स समाजरत्न पुरस्कार’ देकर सम्मानित किया गया था.

सदस्यत्व स्वीकार करने के बाद डॉ. चोरडिया ने कहा, “पिछले दो दशक से सूर्यदत्ता ग्रुप छात्रों का जीवनमान ऊँचा करने और उन्हें अच्छी शिक्षा देने का काम कर रही है. अकैडमिक के साथ छात्रों की सर्वांगीण प्रगति के लिए हम कई सरे उपक्रम ले रहे है. ग्लोबल लेव्हल के कई यूनिव्हर्सिटीज के साथ हम जुड़े हुए है. जिनके माध्यम से अभिनव उपक्रम हम छात्रों को पढ़ा सकते है. छात्रों रोजगाराभिमुख शिक्षा मिलने के लिए हम अलगअलग वर्कशॉप्स, सेमिनार्स व अन्य उपक्रमों को आयोजित करते है. उनके मन में अपना परिवार, देश के प्रति आदरभाव जागृत कर के उन्हें आत्मनिर्भर और जिम्मेदार नागरिक बनने के हम प्रयास कर रहे है. सूर्यदत्ता संचालित सभी संस्थाए आयएसओ ९००१-२०१५ एनव्हीटी-क्यूसी-यूएसए सह प्रमाणित हुई है.”

डॉ. चंद्रहास शेट्टी ने कहा, “सूर्यदत्ता शिक्षण संस्था के माध्यम से शिक्षण व सामाजिक क्षेत्र में प्रा. डॉ. चोरडिया ने उल्लेखनीय कार्य किया है. सभी स्तर आये छात्रों को अच्छी और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा दने के उनका प्रयास सराहनीय है. उनका सामाजिक व शिक्षण क्षेत्र का योगदान देखकर लायन्स क्लब इंटरनॅशनलद्वारा उन्हें यह मानद सभासदत्व प्रदान किया जा रहा है. आनेवाले समय में सूर्यदत्ता ग्रुप व लायन्स क्लब इंटरनॅशनल के संयुक्त तत्वाधान में अनेक उपक्रम आयोजित किये जायेंगे.”

डॉ. दीपक शिकारपूर ने डॉ. संजय चोरडिया का अभिनन्दन करते हुए कहां की, सामाजिक जाणीव और जागतिक स्तर का शिक्षण उपलब्ध करने के लिए प्रयास कर रहे डॉ. चोरडिया का यह उचित सन्मान है. विश्व स्तर की संस्था लायन्स क्लब के माध्यम से उन्हें अपना सामाजिक कार्य और भी बढ़ने के लिए एक अवसर प्राप्त हुआ है.”